इश्तेहार – Ishtehaar (Rahat Fateh Ali Khan, Shamir Tandon, Dhvani Bhanushali, Welcome To NewYork)
“Ishtehaar” एक ऐसा गीत है जो प्रेम और विरह की गहन भावनाओं को अद्वितीय तरीके से प्रस्तुत करता है। इस गीत को संगीत दिया है शमीर टण्डन ने और इसके बोल चरणजीत चरण द्वारा लिखे गए हैं। राहत फ़तेह अली ख़ान, ध्वनि भानुशाली और शमीर टण्डन की भावपूर्ण आवाज़ों में यह गीत एक संवेदनशील और दिल छूने वाली कहानी को बयान करता है। यह गीत प्रेम के उस पल का वर्णन करता है जब एक प्रेमी अपने साथी से जुदा हो जाता है और अपने दिल की पीड़ा को शब्दों में व्यक्त करने की कोशिश करता है। “Ishtehaar” एक गहन और भावनात्मक गीत है जो प्रेम और विरह की संवेदनाओं को व्यक्त करता है। राहत फ़तेह अली ख़ान और ध्वनि भानुशाली की बेहतरीन गायकी, शमीर टण्डन का संगीत और चरणजीत चरण के दिल छू लेने वाले बोल इस गीत को अविस्मरणीय बनाते हैं। यह गीत उन दिलों के लिए है जो कभी किसी रिश्ते में जुड़े थे, और उस प्यार की याद में आज भी जी रहे हैं।
इश्तेहार – Ishtehaar (Rahat Fateh Ali Khan, Shamir Tandon, Dhvani Bhanushali, Welcome To NewYork) | Song Details…
- Movie/Album: वेलकम टू न्यूयॉर्क (2018)
- Music By: शमीर टण्डन
- Lyrics By: चरणजीत चरण
- Performed By: राहत फ़तेह अली खान, ध्वनि भानुशाली, शमीर टण्डन
इश्तेहार – Ishtehaar (Rahat Fateh Ali Khan, Shamir Tandon, Dhvani Bhanushali, Welcome To NewYork) | Song Lyrics
इधर जाऊँ, उधर जाऊँ
कश्मकश में हूँ मैं, किधर जाऊँ
मुझको बता दे मेरे मौला
खत्म गर हो गया सफर, जाऊँ
दिल में चुभने लगा है ख़ार कोई
पड़ गयी है कहीं दरार कोई
मुझको पढ़कर वो ऐसे भूल गया
जैसे कागज़ पे इश्तेहार कोई
दिल में चुभने लगा है ख़ार कोई
पड़ गयी है कहीं दरार कोई
मुझको पढ़कर वो ऐसे भूल गया
मुझको पढ़कर वो ऐसे भूल गया
जैसे कागज़ पे इश्तेहार कोई
कौन समझेगा, रोक रखा है
मैंने पलकों पे, आबशार कोई
छोड़ जाने दे, कर के गुज़रा है
मेरे ख़्वाबों को, तार-तार कोई
मुझको पढ़कर वो ऐसे…
चाहता हूँ मैं, पर नहीं रहती
मुझको मेरी खबर, नहीं रहती
मैं हूँ ऐसे कि, जश्न से पहले
टूट जाता है, जैसे हार कोई
मुझको पढ़कर वो ऐसे…